Ticker

10/recent/ticker-posts

Header Ads Widget

शैक्षिक सत्र शुरू हुए ढाई माह बीतने के बाद भी 22 जिलों में किताबें और 47 जिलों में कार्यपुस्तिका नहीं मिली कक्षा एक से तीन तक के बच्चों को Karyapustika for Basic School UP

शैक्षिक सत्र शुरू हुए ढाई माह बीतने के बाद भी 22 जिलों में किताबें और 47 जिलों में कार्यपुस्तिका नहीं मिली कक्षा एक से तीन तक के बच्चों को

Karyapustika for Basic School UP

सरकार ने एक हफ्ते के अंदर पुस्तकें देने का ऐलान किया था

लखनऊ । सत्र शुरू हुए ढ़ाई माह बीत गए 22 जिलों के परिषदीय स्कूलों में कक्षा एक से तीन तक के बच्चों को अब तक एक भी पाठ्य पुस्तक नहीं मिल सकी है। कार्यपुस्तिका की स्थिति तो और भी खराब है अब तक 47 जिलों में किसी भी बच्चे को कार्यपुस्तिका प्राप्त नहीं हो सकी हैं।

यह स्थिति तब है जबकि सरकार ने कक्षा एक से तीन तक के छात्र-छात्राओं को सत्र शुरू होने के पहले सप्ताह में पाठ्य पुस्तक एवं कार्य पुस्तिका देने का निर्णय कर बकायदा ऐलान भी किया था। ऐसे में अब तक पुस्तकें और कार्यपुस्तिकाएं नहीं मिलने की शिकायत मुख्यमंत्री से की गई है। 

Karyapustika for Basic School UP
Karyapustika for Basic School UP



दरअसल, बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा परिषदीय स्कूलों में कक्षा एक से 3 तक के विद्यार्थियों को एनसीईआरटी निःशुल्क पुस्तकें एवं कार्यपुस्तिकाएं दिए जाने की व्यवस्था है। ढ़ाई माह बाद भी पाठ्य पुस्तक एवं कार्य पुस्तिका नहीं मिलने से प्रदेश भर के कक्षा एक से तीन तक के करीब 52 लाख बच्चों की नियमित शिक्षा प्रभावित हो रही है।

 फरीदाबाद की मेसर्स नोवा पब्लिकेशन एंड प्रिंटर्स फर्म को 50 प्रतिशत कार्य का आवंटन किया गया। साथ ही प्रदेश के सभी 75 जिलों में 45 दिनों के भीतर पाठ्य पुस्तकें तथा 60 दिनों में कार्य पुस्तिकाएं पहुंचाने के निर्देश दिए गए। फरीदाबाद की फर्म की ओर से जहां पाठ्य पुस्तकें एवं कार्य पुस्तिकाएं आपूर्ति की गई हैं, वहां मानक के अनुसार इनके कागज नहीं होने की भी गम्भीर शिकायतें मिल रही हैं।


22 जिलों में अब तक नहीं मिली बच्चों को पुस्तकें

अम्बेडकरनगर, अमेठी, औरैय्या, बलिया, बलरामपुर, बांदा, बिजनौर, चंदौली, इटावा, गाजीपुर, गोंडा, हाथरस, लखीमपुर खीरी, मैनपुरी, मथुरा, मिर्जापुर, रामपुर, संभल, सिद्धार्थनगर, सीतापुर, सोनभद्र, उन्नाव तथा वाराणसी


47 जिलों में बच्चों को नहीं मिली कार्यपुस्तिकाएं

आगरा, अम्बेडकरनगर, अमेठी, औरैय्या, अयोध्या, बागपत, पहराइच, बलिया, बांदा, बस्ती, भदोही, बिजनौर, चंदौली, इटावा, गाजियाबाद, गाजीपुर, गोरखपुर, गोंडा, हमीरपुर, हरदोई हाथरस, जालौन, जौनपुर, झांसी, कन्नौज, कौशाम्बी, लखीमपुर खीरी, महोबा, मैनपुरी, मथुरा, मऊ, मेरठ, मिर्जापुर, मुजफ्फरनगर, पीलीभीत, प्रयागराज, रायबरेली, सहारनपुर, रामपुर, संतकबीर नगर, शाहजहांपुर, सिद्धार्थनगर, सीतापुर, सोनभद्र, श्रावस्ती, उन्नाव, वाराणसी


जिम्मेदार बोले
गूगल सीट पर जिले स्तर से नियमित रूप से अपडेट नहीं किए जाने के कारण पाठ्य पुस्तक एवं कार्य पुस्तिकाओं के वितरण में इतना अंतर दिख रहा है। जल्द ही इसे अपडेट करने का काम किया जाएगा। –माधव तिवारी, राज्य पाठ्यपुस्तक अधिकारी



45 दिनों के अंदर पाठ्य पुस्तकें जिलों को दी जानी थीं

60 दिनों के अंदर कार्य पुस्तिका दिए जाने के आदेश दिए गए थे

बरेली-प्राइमरी स्कूलों में कक्षा एक से तीन तक की एनसीआरटी की लगभग 5 लाख किताबें बरेली को प्राप्त हो चुकी हैं। अभी डेढ़ लाख किताबें और आनी है।

लखीमपुर में कक्षा एक से तीन तक के लिए 5,67,784 किताबों का ऑर्डर किया गया था लेकिन कक्षा एक से तीन तक कार्य पुस्तिका, किताबें नहीं पहुंची।

सहारनपुर में कक्षा 1 से 3 तक एनसीईआरटी की पुस्तकें 70 प्रतिशत, कार्य पुस्तिकाएं 38 प्रतिशत ही आ सकी है। यह जानकारी बीएसए कोमल ने दी।

बांदा के बीएसए अव्यक्त राम तिवारी ने बताया कि प्राइमरी स्कूलों में कक्षा एक से तीन तक दी जाने वाली 46 प्रतिशत पुस्तकें प्राप्त नहीं हुई है।

उन्नाव में एक भी किताब विभाग को नहीं मिली है, इसके अलावा डेढ़ लाख कार्य पुस्तिकाएं भी उपलब्ध नहीं हुई।

Post a Comment

0 Comments